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जानिए आपकी कुंडली के दशमेश कैसे प्रभावित करते हैं आपका करियर / प्रोफेशन ?

आपकी कुंडली के दशमेश कैसे प्रभावित करते हैं आपका करियर / प्रोफेशन ?


ज्योतिष शास्त्र के अनुसार आपकी कुंडली का 10वा भाव आपका करियर / प्रोफेशन बताता है | दशमेश अर्थात 10वे भाव के स्वामी की कुंडली में स्थिति देख कर आपके करियर / प्रोफेशन के बारे में बहुत कुछ बताया जा सकता है | यदि दशमेश आपकी कुंडली में अच्छे भाव में स्थित होंगे तो वो आपके करियर / प्रोफेशन में शुभ फल प्रदान करेंगे और इसके विरुद्ध यदि दशमेश आपकी कुंडली में बुरे भाव में स्थित होंगे तो वो आपके करियर / प्रोफेशन में अशुभता प्रदान करेंगे |

आइये समझते हैं दशमेश का सभी 12 भावो में फल - > दशमेश प्रथम भाव में - यदि किसी जातक की कुंडली के दशमेश प्रथम भाव में स्थित होंगे तो वो व्यक्ति आत्मनिर्भर होगा, ऐसे जातक अपनी नौकरी अथवा व्यवसाय में बहुत मेहनत करते हैं तथा सफल होते हैं | ऐसे जातक अपने जीवन में आने वाली रुकावटों को पार करने में सक्षम होते हैं | ऐसे जातक अपने जीवन में बिना किसी की मदद के सफल होते हैं | आमतौर पर ऐसे जातक खुश मिजाज तथा बुद्धिमान होते हैं | > दशमेश द्वितीय भाव में - यदि किसी जातक की कुंडली के दशमेश द्वितीय भाव में स्थित होंगे तो बहुत सम्भावना है की वो अपना पैतृक व्यवसाय चलाएगा | ऐसे जातक दयालु तथा उदार स्वभाव के होते हैं, इनके जीवन में धन की कमी नहीं रहती | ऐसे जातक अच्छे अध्यापक, वकील, अधिवक्ता बन सकते हैं | खाने पीने से सम्बंधित काम भी इनके लिए उपयुक्त रहेगा |


> दशमेश तृतीय भाव में - यदि किसी जातक की कुंडली के दशमेश तृतीय भाव में स्थित होंगे तो ऐसे जातक बहुत साहसी, निडर तथा मेहनती होते हैं | इन जातको के लिए लेखन, पत्रकारिता, RJ, यातायात तथा प्रिंटिंग का क्षेत्र लाभदायक रहेगा | ये जातक अपने छोटे भाई बहनो के सहयोग से अच्छा धन प्राप्त कर सकते हैं | आम तौर पर इन जातको को छोटी यात्राएं करनी पड़ती हैं | > दशमेश चतुर्थ भाव में - यदि किसी जातक की कुंडली के दशमेश चतुर्थ भाव में स्थित होंगे तो ऐसे जातक ऐश्वर्य का जीवन व्यतीत करते हैं, इनके पास अचल संपत्ति तथा वाहन सुख की कोई कमी नहीं होती | ऐसे जातक खेती बाड़ी, भूमि अथवा गाड़ियों की खरीद फरोख्त के सम्बंधित कार्यों से अच्छा धन अर्जित कर सकते हैं | जल सम्बन्धी कार्य भी इनके लिए विशेष फलदायी सिद्ध होते हैं |


> दशमेश पंचम भाव में - यदि किसी जातक की कुंडली के दशमेश पंचम भाव में स्थित होंगे तो ऐसे जातक बुद्धिमान, कार्यकुशल तथा सर्वप्रिय होते हैं | इन जातको के लिए विद्या से सम्बंधित कार्य विशेष फलदायी होते हैं, ये जितना अपना ज्ञान बाटेंगे उतना ही अच्छा फल प्राप्त करेंगे | ये जातक मनोरंजन के क्षेत्र में भी अपनी अच्छी जगह बना सकते हैं | > दशमेश छठे भाव में - कुंडली का छठा भाव अच्छा नहीं माना जाता क्यूंकि ये रोग, व्याधि, क़र्ज़, आदि का परिचायक है | यदि किसी जातक की कुंडली के दशमेश छठे भाव में स्थित होंगे तो ऐसे जातक को अपने कार्यक्षेत्र में बहुत कठिनाईओं का सामना करना पड़ेगा | बहुत सम्भावना है की जातक क़र्ज़ में डूब जाये, जातक को अपने कर्मो के हिसाब से आशातीत सफलता मिलने में दिक्कत आएगी | अस्पताल, पुलिस तथा सेना से सम्बंधित कार्य इनके लिए उपयुक्त हैं |


> दशमेश सातवे भाव में - यदि किसी जातक की कुंडली के दशमेश सातवे भाव में स्थित होंगे तो आपको अपने कार्यक्षेत्र में सहकर्मियों तथा विपरीत सेक्स के लोगो का समर्थन मिलेगा जिसके द्वारा आप सफल हो सकेंगे | व्यवसाय में साझेदारी भी आपके लिए उपयुक्त रहेगी | इन जातको को नौकरी की जगह अपना व्यवसाय करना चाहिए | > दशमेश आठवे भाव में - कुंडली का आठवा भाव भी अच्छा नहीं मन जाता क्यूंकि ये दुर्घटना, मृत्यु, कष्ट, आदि का परिचायक है | यदि किसी जातक की कुंडली के दशमेश आठवे भाव में स्थित होंगे तो आपको अपने कार्यक्षेत्र में बहुत तनाव रहेगा और आप काफी चिंतित रहेंगे जिसकी वजह से आपके कार्य पर प्रतिकूल असर पड़ सकता है | अगर आप नैतिक मूल्यों का सम्मान करते हुए अपना कार्य करेंगे तो आपके जीवन की कठनाइयां कम हो जाएँगी | जीवन तथा स्वास्थ बीमा तथा कानूनी कार्य आपके लिए उपयुक्त होंगे |


> दशमेश नवम भाव में - यदि किसी जातक की कुंडली के दशमेश नवम भाव में स्थित होंगे तो आप धनवान तथा भाग्यशाली होंगे | वकील, जज, अधिवक्ता, कोर्ट सम्बंधित कार्य आपके लिए उपयुक्त हैं | यदि आप अपने पिता का व्यवसाय आगे बढ़ाएं तो वो भी आपके लिए अच्छा रहेगा | ऐसे जातक धार्मिक प्रवर्त्ती के होते हैं |


> दशमेश दशम भाव में - यदि किसी जातक की कुंडली के दशमेश दशम भाव में स्थित होंगे तो ऐसे जातक बहुत ही कर्मठ, भाग्यशाली तथा सभी सुख साधनो से युक्त होंगे क्यूंकि दशमेश अपने ही घर में स्थित हैं | आपके लिए सरकारी विभागों से सम्बंधित काम या नौकरी, प्रशासनिक कार्य बहुत फलदायक होंगे | ऐसे जातक बहुत उच्चाईओं को छूते हैं |


> दशमेश एकादश भाव में - यदि किसी जातक की कुंडली के दशमेश एकादश भाव में स्थित होंगे तो ऐसे जातको को जीवन भर धन सम्पदा की कभी कोई कमी नहीं रहेगी | ऐसे जातक बहुत ही भाग्यशाली होते हैं, ये जिस भो कार्य में हाथ डालते हैं, उसी में सफल होते हैं | वित्तयी सम्बन्धी कार्य इन जातको के लिए विशेष शुभकर हैं |


> दशमेश द्वादश भाव में - कुंडली का द्वादश भाव भी अच्छा नहीं मन जाता क्यूंकि ये हानि, नुक्सान, खर्चे आदि का परिचायक है | यदि किसी जातक की कुंडली के दशमेश द्वादश भाव में स्थित होंगे तो यदि ऐसे जातक विदेश में जाकर नौकरी करते हैं तो इनके लिए फलदायी होगा | इन जातको को कभी भी टैक्स नहीं चुराना चाहिए अन्यथा सरकारी विभाग से समस्याएं अति शीघ्र हो जाएँगी |


पाठको, मेरे पोस्ट पढ़ने के लिए आपका बहुत बहुत धन्यवाद, ये था मेरा ज्योतिष से सम्बंधित एक और विषय पर लेख, यदि आप ज्योतिष के किसी और विषय पर जानकारी पाना चाहते हैं तो कमेंट में लिखकर मुझे बताइये, मैं निश्चित तौर पर उस टॉपिक पर लेख लिखूंगा | यदि आपको मेरे लेख पसंद आ रहे हैं तो कृपया like करके तथा ज्यादा से ज्यादा शेयर करके मेरा उत्साह वर्धन कीजियेगा |




2 commentaires


jaisa ki maine bataya jaatak ki kundali ke 10th house me jo rashi hoti hai us rashi ke swami grah ko dashmesh kehte hain. Wo poori kundali me kahin par bhi sthit ho sakte hain. Dashmesh ka 6th house me result - "दशमेश छठे भाव में - कुंडली का छठा भाव अच्छा नहीं माना जाता क्यूंकि ये रोग, व्याधि, क़र्ज़, आदि का परिचायक है | यदि किसी जातक की कुंडली के दशमेश छठे भाव में स्थित होंगे तो ऐसे जातक को अपने कार्यक्षेत्र में बहुत कठिनाईओं का सामना करना पड़ेगा | बहुत सम्भावना है की जातक क़र्ज़ में डूब जाये, जातक को अपने कर्मो के हिसाब से आशातीत सफलता मिलने में दिक्कत आएगी | अस्पताल, पुलिस तथा सेना से सम्बंधित…

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monika.best86
03 avr. 2020

6th place pe dashmesh hota h kya?

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